दुनिया एक रंगमंच है और हमसब इस रंगमंच की कठपुतलियां हैं। किसी ने ये पंक्तियां यूं ही नहीं कह दीं। अगर आप गहराई से देखें तो हम सब कहीं न कहीं ज़िन्दगी में हर रोज़ कोई न कोई किरदार होते हैं और हर पल हमारे हाव भाव, बोलचाल का अंदाज़ और तमाम घटनाक्रमों के बीच हमारी भूमिका एक नई कहानी गढ़ती है। भारतीय रंगमंच की परंपरा बेहद समृद्ध है और ये कहीं न कहीं हमारे जीवन के तमाम पहलुओं को स्वांग के ज़रिये सामने लाती है। फिल्मों और टेलीविज़न के आने के बाद से रंगमंच की दुनिया में हलचल मच गई और इसके अस्तित्व पर सवाल उठाए जाने लगे। लेकिन हर दौर में देश के तमाम हिस्सों में रंगमंच उसी शिद्दत के साथ मौजूद है और रहेगा। इसकी अपनी दुनिया है और अपने दर्शक हैं। यहां भी नए नए प्रयोग होते रहते हैं और देश भर में लगातार नाटकों का मंचन होता रहता है। कहां क्या हो रहा है, रंगमंच आज किस दौर में है, कौन कौन से प्रयोग हो रहे हैं, कलाकारों की स्थिति क्या है, पारंपरिक और लोक रंगमंच आज कहां खड़ा है – ऐसी तमाम जानकारियां इस खंड में।
नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा (NSD) का सातवां "आदि रंग महोत्सव 21 से 23 मार्च तक होने जा रहा है। यह भारत की आदिवासी समुदायों की कला, संस्कृति और धरोहर का उत्सव है। आदि रंग महोत्सव रंगमंच, संगीत, नृत्य, सेमिनार और शिल्प का एक जीवंत संगम है जिसमें लगभग 300 आदिवासी कलाकार होंगे। नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा के निदेशक चित्तरंजन त्रिपाठी ने बताया है कि महोत्सव में 13 राज्यों से 15 नृत्य और संगीत प्रस्तुतियाँ तथा 11 �
Read Moreसाहित्योत्सव के पांचवे दिन हिंदी के प्रख्यात लेखक एवम नाटककार मोहन राकेश को उनकी जन्मशताब्दी पर याद किया गया और सवाल उठा कि क्या उनकी रचनाओं का मूल्यांकन उनके जीवन की घटनाओं के आधार पर होना चाहिए या उनके लिखे पर ? सवाल यह भी उठा कि क्या वे अपनी रचनाओं में स्त्री विरोधी थे?
Read More17 दिनों से राजधानी मेंधूमधाम से चल रहा भारत रंग महोत्सव एनएसडी पर डाक टिकट जारी होने और प्रख्यात लेखक धर्मवीर भारती के प्रसिद्ध कृति कनुप्रिया के मंचन के साथ समाप्त हो गया। दिल्ली के उप राज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने समारोह में डाक टिकट जारी किया और अपने भाषण में पूर्व मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल का नाम न लेते हुए उनकी जबरदस्त खिंचाई की। उन्हें ऐसा फ्लॉप अभिनेता बताया जिसे जन
Read Moreभारंगम की शुरुआत तीन दिन पहले हो चुकी है और अब लोगों की निगाह महिला निर्देशकों पर केंद्रित हो रही है। इस बार भारंगम में 24 महिला निर्देशकों के नाटक हो रहे हैं। गुरुवार को प्रसिद्ध रंगकर्मी हेमा सिंह के नाटक से इसकी विधिवत शुरुआत हो चुकी है। हेमा सिंह ने हिंदुस्तानी में आगा हश्र कश्मीरी के नाटक "ख्वाब ए हस्ती" का मंचन किया।
Read Moreभारत रंग महोत्सव के दूसरे दिन लोकरंग कार्यक्रम में संजय उपाध्याय के निर्देशन में नाटक बिदेसिया का 856 वीं बार मंचन किया गया। इस दौरान दर्शकों ने तालियों और सीटियों से समां बांध दिया। एनएसडी के मुक्ताकाश मंच पर शाम सात बजे इस नाटक को देखने के लिए भीड़ उमड़ पड़ी। इसका एक कारण तो यह भी रहा होगा कि यह नाटक निःशुल्क था पर इस नाटक की अपार सफलता से कुछ सवाल भी उठे। वरिष्ठ पत्रकार लेखक अरविंद कु
Read Moreभारत रंग महोत्सव के 25वें संस्करण की शुरुआत हो गई... दिल्ली में चुनाव की वजह से इसका उद्घाटन कमानी ऑडिटोरियम में न होकर राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय के कैंपस में ही हुआ...इस बार के रंगदूत बनाए गए अभिनेता राजपाल यादव ने तालियां बटोरीं.. मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत के आने का लंबा इंतज़ार हुआ, आखिरकार उद्घाटन के बगैर नाटक रंग चिंतन शुरु हो गया... मंत्री जी आए तो लेकिन काफी देर से.. मंच पर संस्कार
Read Moreउत्तर प्रदेश के प्रयागराज में 144 साल बाद हो रहे महाकुंम्भ में "भारंगम" (भारतीय रंग महोत्सव) के एक नाटक ने लोगों का दिल जीत लिया। राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय के निदेशक चितरंजन त्रिपाठी द्वारा निर्देशित नाटक "समुद्रमंथन " पिछले दिनों देश विदेश से आये लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बना रहा।गत वर्ष भारंगम का उद्घटान इसी नाटक से हुआ था।
Read Moreब से भारत रंग महोत्सव (भारंगम) शुरु हुआ है रंगकर्मियों और रंग संस्थाओं के लिए एक बड़े और प्रतिष्ठित मंच पर खुद को अभिव्यक्त करने का मौका मिलने लगा। पच्चीस साल हो गए। 1999 में जब इसकी शुरुआत हुई तो एनएसडी के निदेशक थे रामगोपाल बजाज। पहले भारंगम में गिरीश कर्नाड के नाटक नागमंडल खेला गया था अमाल अल्लाना के निर्देशन में। इसके अलावा भी कई अन्य चर्चित नाटक। इन पच्चीस सालों में अब भारंगम का स
Read Moreवसुधैव कुटुंबकम का संदेश फैलाने के लिए दुनिया में नाटकों का सबसे बड़ा आयोजन “भारत रंग महोत्सव “(भारंगम) इस साल 28 जनवरी से शुरू होगा और बीस दिनों तक चलेगा और पहली बार देश से बाहर विदेश की धरती पर भी होगा। प्रसिद्ध फ़िल्म अभिनेता एवम एनएसडी के पूर्व छात्र राजपाल यादव इस साल भारंगम के “रंगदूत” बनाये गए हैं।
Read More