ललित कला अकादमी के राष्ट्रीय पुरस्कारों का ऐलान
सम्मानित होंगे 20 कलाकार
63वें राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी में शामिल होंगी 297 कृतियां
नई दिल्ली। अपनी कला को एक खास मुकाम तक पहुंचाने और उनमें विविध आयाम जोड़कर खुद को स्थापित करने वाले 20 बेहतरीन कलाकारों को इस बार के प्रतिष्ठित ललित कला अकादमी पुरस्कार से नवाज़ा जा रहा है। 2023 के लिए इन राष्ट्रीय पुरस्कारों की घोषणा करते हुए ललित कला अकादमी के अध्यक्ष प्रो वी नागदास कहते हैं कि इन पुरस्कारों के साथ साथ 63वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी का आयोजन भी जल्दी ही होने जा रहा है जिसमें इन पुरस्कृत कलाकारों के उत्कृष्ठ काम को कलाप्रेमी देख सकेंगे। इस बार जिन कलाकारों को इस प्रतिष्ठित पुरस्कार के लिए चुना गया है वह पेंटिंग, मूर्तिशिल्प, ग्राफिक, फोटोग्राफी, चित्रकला, इंस्टॉलेशन समेत बहुआयामी प्रतिभाओं के धनी हैं।
ललित कला अकादमी को इस बार की राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी और पुरस्कारों के लिए देश भर से 2291 कलाकारों की 5714 प्रविष्ठियां मिली। जाहिर है इतनी बड़ी संख्या में आई प्रविष्ठियों में से 20 कलाकारों को पुरस्कारों के लिए चुनना कोई आसान काम नहीं था। इसके लिए अकादमी ने दो निर्णायक मंडल बनाए। पहले स्तर पर इन कलाकारों के काम की परख अभिजीत भट्टाचार्य, प्रो. हर्षवर्धन शर्मा, रतिलाल कन्सोदरिया, अल्का चढ्ढा हरपलानी और विशाखा आप्टे जैसे जाने माने कलाकारों और कला समीक्षकों ने की और इनमें से राष्ट्रीय प्रदर्शनी में शामिल करने के लिए विभिन्न माध्यमों की 297 कृतियों को चुना गया।
दूसरे स्तर के निर्णायक मंडल ने पुरस्कारों के लिए इनमें से 20 कलाकारों और उनके काम का चुना। इस निर्णायक मंडल में आसमा मेनन, बासुदेव बिस्वास, भीम मल्होत्रा, चिप्पा सुधाकर, डॉ. आर.एच. कुलकर्णी और सुधांशु भूषण सुतार शामिल हैं। प्रदर्शनी में चित्रकला, मूर्तिशिल्प, ग्राफिक, फोटोग्राफी, ड्राईंग, इंस्टालेशन और बहुमाध्यम सरीखे वृहद कला माध्यमों की कलाकृतियाँ शामिल की जाएंगी।
जिन 20 कलाकारों औऱ उनकी कलाकृतियों को पुरस्कार के लिए चुना गया है उनमें पेंटिंग के लिए आठ कलाकार हैं – अभिप्शा प्रधान (जर्नी – 58), आकाश बिस्वास (द कोरल), अनस सुलतान (मेटोमोरफोसिस-XI), भाउराव बोडाडे (अनटाइटल्ड), दीपक कुमार (लाइफ ऑफ माई मदर), एक अन्य कलाकार हैं जिनका नाम भी दीपक कुमार ही है उनकी पेंटिंग (क्रॉसिंग), किरन अनिला शेरखाने (द एलीमेन्ट्स ऑफ लाइफ) और पंकज कुमार सिंह (ट्राँसफॉरमेशन ऑफ कॉस्मिक एंटिटी-2)।
मूर्तिशिल्प के लिए जिन 6 कलाकारों को चुना गया है वो हैं – आरती पालीवाल (नेचर), चुगुली कुमार साहू (इनोसेन्स एडं फ्रीडम), महेन्द्र प्रताप दिनकर (नेचर बैलेन्स – 2), नरोत्तम दास (नववधू), सामा कांत रेड्डी (आयरन ब्यूटी) और सोमेन देबनाथ (नॉस्टेलजिक मेमोरिज़ – II)
प्रिंट मेकिंग के लिए अनामिका सिंह (डिस्टॉरशन-006), नागेश बालाजी गाडेकर (हू एम आई) और प्रियोम तालुकदार (डॉमिनेशन फॉर सेल्फ सैटिस्फैक्शन; सिन्स 1449 ए.डी.) जबकि इंसटॉलेशन के लिए जान्हवी खेमका (सपना), फोटोग्राफी के लिए कुमार जिगीशु (अनटाइटल्ड इमोशन्स) और पवन कुमार (लाइट ऑफ होप – II), मूर्तिशिल्प के लिए सामा कांत रेड्डी (आयरन ब्यूटी) और सोमेन देबनाथ (नॉस्टेलजिक मेमोरिज़ – II) को इस बार का राष्ट्रीय ललित कला अकादमी पुरस्कार मिल रहा है।
पुरस्कार विजेता को अकादमी की ओर से 2 लाख रुपये, एक ताम्रफलक और एक शॉल दिया जाएगा। प्रदर्शनी का आयोजन ललित कला अकादमी की कला दीर्घा में किया जाएगा, साथ ही पुरस्कार वितरण समारोह भी नई दिल्ली में ही आयोजित किया जाएगा।
अकादमी के अध्यक्ष प्रो. वी नागदास कहते हैं कि अकादमी के इन पुरस्कारों और इस प्रदर्शनी का मकसद हमेशा से देश में कला के क्षेत्र में हो रहे बेहतरीन कामों को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर एक ऊंचाई पर पहुंचाना और कलाकारों की प्रतिभा का सम्मान करना है। अकादमी पुरस्कारों की चयन प्रक्रिया को एकदम पारदर्शी बनाने की लगातार कोशिश रही है और देश के वरिष्ठ और प्रतिष्ठित कलाकार, कला समीक्षक और कला के पारखी इसका चयन करते रहे हैं। उनका कहना है कि जिन कलाकारों को पुरस्कार के लिए नहीं चुना जा सका, अकादमी उनका भी पूरा सम्मान करती है और उनकी रचनात्मक भागीदारी के लिए उन्हें धन्यवाद देती है। उन्होंने देश भर के कलाकारों से अपील की है कि वो बड़ी संख्या में 63वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी में शामिल हों और पूरे कला समुदाय को एकजुट होकर अपनी रचनात्मकता को एक बड़ा आयाम दें।
Posted Date:June 7, 2023
8:19 pm